News : CM धामी ने पूर्व सैनिकों संग डेमोग्राफी चेंज और धर्मांतरण पर की चर्चा, पढ़ें!

News : ‘विकसित भारत @2047’ विज़न को साकार करने के क्रम में उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पूर्व सैनिकों के साथ एक विशेष संवाद कार्यक्रम का आयोजन किया। इस दौरान राज्य में हो रहे संभावित जनसांख्यिकी परिवर्तन और धर्मांतरण जैसे गंभीर सामाजिक विषयों पर गहन चर्चा की गई। मुख्यमंत्री ने साफ कहा कि उत्तराखंड की सांस्कृतिक विरासत और सामाजिक संतुलन से कोई समझौता नहीं किया जाएगा।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने पूर्व सैनिकों को ‘समाज के सच्चे प्रहरी’ बताया और उनसे आग्रह किया कि वे समाज में सजगता और जागरूकता फैलाने में सरकार का सहयोग करें। उन्होंने कहा कि विकसित भारत के संकल्प में केवल आर्थिक और भौतिक विकास ही नहीं, बल्कि सांस्कृतिक सुरक्षा भी उतनी ही महत्वपूर्ण है।

News : सीमावर्ती राज्य में डेमोग्राफिक बदलाव को लेकर सतर्क सरकार

सीएम धामी ने अपने संबोधन में कहा कि उत्तराखंड एक सीमावर्ती राज्य है और यहां जनसंख्या असंतुलन एक चिंता का विषय बनता जा रहा है। कुछ क्षेत्रों में जनसंख्या का अप्राकृतिक रूप से बढ़ना और बाहरी लोगों का अतिक्रमण भविष्य के लिए चुनौती खड़ी कर सकता है। उन्होंने कहा कि सरकार ने ऐसे मामलों को चिह्नित कर लिया है और आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दे दिए गए हैं।

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उन्होंने कहा, “हमारी सरकार उत्तराखंड की सांस्कृतिक संरचना को बिगाड़ने की किसी भी कोशिश को बर्दाश्त नहीं करेगी। जो लोग अवैध रूप से आकर बस रहे हैं या जनसंख्या संतुलन बिगाड़ रहे हैं, उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जा रहे हैं।”

News : जबरन धर्मांतरण पर कठोर कानून का पालन

मुख्यमंत्री धामी ने जबरन और छलपूर्वक धर्मांतरण की घटनाओं को गंभीर अपराध बताया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में धर्मांतरण विरोधी कानून पहले से लागू है, जिसे और अधिक प्रभावशाली बनाने के लिए निगरानी समितियों का गठन किया गया है।

सीएम ने कहा, “हम सब धर्मों का सम्मान करते हैं, लेकिन अगर किसी को लालच देकर या डराकर धर्म बदलवाया जा रहा है, तो यह सीधा-सीधा संविधान और समाज दोनों के खिलाफ है। हमने ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई की है और आगे भी किसी को नहीं बख्शा जाएगा।”

News : पूर्व सैनिकों को निभानी होगी अहम भूमिका

मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व सैनिकों ने देश की सीमाओं की रक्षा की है, अब समाज की रक्षा में भी उनकी भूमिका बेहद अहम है। उन्होंने अपील की कि पूर्व सैनिक अपने अनुभव, अनुशासन और प्रभाव का उपयोग करके समाज में सकारात्मक माहौल बनाएं और विशेषकर युवाओं को इस विषय पर जागरूक करें।

सीएम ने कहा, “हमारा ‘विकसित भारत @2047’ तभी संभव है जब हम अपने समाज की एकता, अखंडता और पहचान को सुरक्षित रखें। इसमें पूर्व सैनिकों का योगदान अमूल्य है।”

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News : सरकार का कड़ा संदेश और राजनीतिक संकेत

कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि उनकी सरकार किसी भी राजनीतिक दबाव या वोटबैंक की परवाह किए बिना राज्य की सुरक्षा और सांस्कृतिक धरोहर की रक्षा करेगी। उन्होंने विपक्षी दलों पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग तुष्टिकरण की राजनीति के कारण इन मुद्दों पर चुप रहते हैं, लेकिन भाजपा सरकार जनहित से समझौता नहीं करेगी।

‘विकसित भारत @2047’ की परिकल्पना को साकार करने के लिए उत्तराखंड सरकार न सिर्फ आधारभूत संरचना पर काम कर रही है, बल्कि सामाजिक समरसता और सांस्कृतिक सुरक्षा को भी प्राथमिकता दे रही है।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का यह संवाद पूर्व सैनिकों के साथ एक रणनीतिक पहल है, जिससे राज्य की जड़ों को मज़बूती मिलेगी और आने वाले वर्षों में उत्तराखंड एक सशक्त, सुरक्षित और संतुलित समाज की दिशा में अग्रसर होगा।

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