स्कूली वाहनों की हालत खराब, बच्चों की जान खतरे में डाल कर रहे बसों का संचालन
पिछले दिनों पंजाब के संगरूर के लोगोंवाल में स्कूल वैन जल जाने से चार मासूम बच्चों ने अपनी जान गंवा ली थी, इतना बड़ा हादसा होने के बाद भी मोगा प्रशासन ने मानो आंखों पर पट्टी बांध ली हो और एक बार फिर से बड़े हादसे की प्रतीक्षा में बैठा हो।
वहीं जब मीडिया की तरफ से स्कूली वाहनों का रियलिटी चेक किया गया तो पाया गया कि कई साल पुरानी बसें मासूम बच्चों को लेकर सड़कों पर दौड़ती है और सरेआम हाईकोर्ट के हुक्मों की धज्जियां उड़ाती है। जब मीडिया की तरफ से वैन ड्राइवरों से पूछा गया कि वह ऐसे वाहनों को लेकर क्यों चलते हैं तो आगे से उन्होंने कहा कि कल से ऐसा नहीं होगा, जब ड्राइवर को सेफ स्कूल वाहन पॉलिसी के तहत मापदंडों के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि ज्यादातर बसों में सेफ स्कूल वाहन पॉलिसी के तहत अपनाए जाने वाले मापदंड नहीं है।
यहां तक कि बच्चों ने भी कहा कि उनके साथ कोई भी हेल्पर नहीं जाता है और ना ही फर्स्ट एड किट और ना ही आग बुझाओ यंत्र वैन में होता है ।
ड्राइवरों का कहना था कि ज्यादा से ज्यादा नई बसें हम लेकर आ रहे हैं लेकिन जो वैन उनको चाहिए वह उपलब्ध नहीं है लेकिन बहुत जल्द नए वाहन आ जाएंगे, कई ड्राइवर ज़ी मीडिया के सवालों से भागते नजर भी आए।
वहीं इस संबंध में जिला बाल सुरक्षा अफसर से जब पूछा गया तो वह पल्ला झाड़ते नजर आए, उन्होंने कहा कि उनके द्वारा हर रोज स्कूलों की चेकिंग की जाती है साथ ही उन्होंने कहा कि कहीं ना कहीं स्कूल और मैनेजमेंट की भी जिम्मेदारी बनती है कि वह बसों को ठीक रखें ।
पंजाब से तन्मय सामन्ता की रिपोर्ट