उत्तराखंड सीमा से संटे हुए रामपुर के अंतिम शासक नवाब रजा अली खां की जायदाद के बंटवारे की प्रक्रिया के तहत कुछ दिन पूर्व रियासतकालीन आर्मरी के दरवाजे खुले तो सबकी आंखें फटी रह गईं। आर्मरी में सोना और चांदी जड़ित हथियार मिले हैं। पहले दिन सर्वे का काम पूरा नहीं हो सका जिसके बाद तीन से चार दिन तक का समय और निर्धारित किया गया और आर्मरी के खोलने की प्रक्रिया एक बार फिर से प्रारंभ हुई और जब दूसरी बार आर्मरी खुली तो देखने वालों की भी आँखे खुली रह गई।
जिला न्यायालय ने आर्मरी खोलने के आदेश जारी किये थे। जिलाधिकारी आन्जनेय कुमार सिंह ने इसके लिए एसडीएम श्री पुंडीर, सीओ विद्या शुक्ल और शस्त्रों के जानकार राशिद खां व आमिर खां को कमेटी में शामिल किया था। एडवोकेट कमिश्नर मुजम्मिल हुसैन व सौरभ सक्सेना ने कमेटी की मौजूदगी में आर्मरी के ताले खुलवाये। यहां नवाब खानदान के सदस्य भी थे। जो ताले नहीं खुल सके, उन्हे तोड़ दिया गया।

वहीं इस मामले पर नवाब काजिम अली खां उर्फ नवेद मियां के वकील संदीप कुमार सक्सेना से हमने बात की तो उन्होंने बताया यह मामला नवाब रजा अली खान की संपत्ति का है नवाब रजा अली खान की संपत्ति के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने एक आदेश किया है कि शरीयत के आधार पर इनके जितने भी वारिस हैं उनको हिस्सा दिया जाए उसके तहत ही जिला जज महोदय ने यहां पर कमिश्नर नियुक्त किए थे जिनके द्वारा नवाब रजा अली खान की चल और अचल संपत्तियों का विवरण यह दोनों कमिश्नर अदालत में जमा करेंगे।

आज भी कुछ अलमारियां खोलनी है जिनमें ताले लगे हैं। नवाब रजा अली खान की संपत्ति में लगभग 16 वारिस है जिनमे बेगम नूर बानो,काज़िम अली खान, सना दुर्रेज ,मुराद मियां, निखत बी,तलहत फातिमा कुल 16 वारिस हैं। ये संपत्ति इन सभी में शरीयत के आधार पर बांटी जाएगी। कल जो हथियारों का ज़ाकिरा निकला है उसमे इंग्लिश गन्स समेत तलवारें आदि है जिनमे सोना चांदी जड़ित हथियार भी मौजूद हैं। लगभग 250 तलवारें निकली है। और अभी कई अलमारियां खुलने से रह गयी हैं जिनमे और हथियार मौजूद हैं।
ऱामपुर से शाहनूर की रिपोर्ट