केदारनाथ: विश्व प्रसिद्ध केदारनाथ धाम के कपाट भैयादूज पर्व पर नौ नवंबर को सुबह साढ़े आठ बजे शीतकाल के लिए बंद कर दिए जाएंगे। इसके साथ ही द्वितीय केदार मध्यमेश्वर व तृतीय केदार तुंगनाथ धाम के कपाट 19 अक्टूबर यानि की विजयदशमी के दिन बंद कर दिए जाएंगे। द्वितीय केदार मध्यमेश्वर व तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट बंद करने को लेकर श्री बदरी-केदार मंदिर समिति ने ऊखीमठ स्थित ओंकारेश्वर धाम में तैयारियां शुरू कर दी हैं।
इस बार भगवान भोले के दरबार में 7 लाख श्रद्धालु दर्शन करने के लिए आए। और अभी भी भोले नाथ के दर्शन करने के लिए यात्रियों का जमावड़ा लगा हुआ है। और इस बार तो केदार नगरी के इतिहास में पहली बार सात लाख यात्री भोले बाबा के शरणो में आए। हालांकि 2013 में आयी भयनाक हादसे के बाद यहां पर यात्रियों के आने की संख्या कम हो गई थी लेकिन अब फिर से यहां पर यात्रियों का जमावड़ा लगा हुआ है।
जरूर पढ़ें: उत्तरकाशी में महसूस किए गए भूकंप के झटके, 3.2 मापी गई तीव्रता…
आपको बता दे कि नौ नवंबर को सुबह चार बजे भगवान भोले को भोग लगाने के साथ ही समाधि पूजा भी होगी और ठीक साढ़े आठ बजे मुख्य कपाट बंद होने के बाद बाबा की उत्सव डोली अपने शीतकालीन प्रवास ओंकारेश्वर मंदिर के लिए प्रस्थान करेगी। वहीं, वेदपाठी, ब्राह्मण व पुजारी पंचगद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ में पंचाग गणना के अनुसार 19 अक्टूबर को द्वितीय व तृतीय केदार के कपाट बंद करने की तिथि तय करेंगे। मंदिर समिति के कार्याधिकारी एनपी जमलोकी ने बताया कि इसके लिए मंदिर समिति के कर्मचारी तैयारियों में जुट गए हैं।