मेरठः यहां एक कोरोना मरीज ने कहा कि, जब मेरा यहां इलाज नहीं हो रहा और मेरा कलेजा खाली है, पेट भरने को कुछ नहीं मिल रहा तो इससे तो एक जहर का इंजेक्शन ही लगवा दो. मेरठ में मेडिकल कॉलेज के कोविड वार्ड में भर्ती ने यह बात अपने परिजनों से कही. उसकी बातचीत का यह वीडियो वायरल होने से मेडिकल कॉलेज के साथ ही प्रशासनिक अफसरों में हड़कंप मच गया है.
कोरोना संक्रमित मरीज यहां टीपीनगर के नई बस्ती का रहने वाला है. सड़क दुर्घटना में घायल होने के बाद सोमवार को उसे मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था. उसका कहना है कि, दुर्घटना में जो चोट लगी है उसका इलाज नहीं हुआ. वह दर्द से तड़प रहा है लेकिन, पट्टी नहीं हुई. यहां कोई देखने वाला नहीं है और न ही समय से खाने की व्यवस्था है. इस दौरान मरीज की हालत सुनकर उसकी पत्नी बिलख उठती है. वहीं, उसके रिश्तेदार उसे मोबाइल व अन्य सामान भिजवाने का आश्वासन दे रहे हैं.परिजनों के आश्वासन के बाद भी वह कहता है कि यहां मेरी जान चली जाएगी, मुझे किसी प्राइवेट अस्पताल में ले जाओ या फिर मुझे जहर का इंजेक्शन लगवा दो.
परिवार के बाकी सदस्यों का नहीं कराया कोरोना टेस्ट
45 वर्षीय इस व्यक्ति की पत्नी और एक अन्य महिला रिश्तेदार भी रविवार को हुए हादसे में गंभीर रूप से घायल हो गए थे. तीनों को बागपत रोड स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. आरोप है कि अस्पताल ने इलाज के नाम पर उनसे 50 हजार रुपये वसूल लिए, जबकि अगले दिन व्यक्ति को कोरोना संक्रमित बताते हुए मेडिकल कॉलेज भेज दिया गया. मेडिकल कॉलेज के कोविड वार्ड के बाहर मौजूद मरीज की पत्नी का रो-रोकर बुरा हाल था. वह मरीज का सही ढंग से उपचार करने की मांग कर रही है. वहीं परिजनों का कहना है कि पांच दिन बाद भी मरीज के परिवार के बाकी सदस्यों का कोरोना टेस्ट नहीं कराया गया है.