एनडीए के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार रामनाथ कोविंद के बारे में खास बातें
भाजपा संसदीय दल की बैठक के बाद भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद को एनडीए का राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित किया है। उत्तर प्रदेश के कानपुर देहात के निवासी रामनाथ कोविंद के बारे में जानिए कुछ खास बातें-
- पेशे से वकील रामनाथ कोविंद वर्ष 1994 से 2006 के बीच दो बार राज्यसभा सदस्य रह चुके हैं।
- दो बार भाजपा के अनुसूचित जाति मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और राष्ट्रीय प्रवक्ता,उत्तर प्रदेश के महामंत्री रह चुके हैं।
- 1977 में पूर्व प्रधानमंत्री मोरारजी देसाई के विशेष कार्यकारी अधिकारी रहे चुके हैं।
- हरिद्वार में गंगा तट पर स्थित कुष्ठ रोगियों की सेवा के लिए समर्पित संस्था दिव्य प्रेम सेवा मिशन के आजीवन संरक्षक हैं।
- परिवार में पत्नी, एक पुत्र और एक पुत्री हैं।
- केंद्र में मोदी सरकार बनने के बाद कोविंद उत्तर प्रदेश से राज्यपाल बनने वाले तीसरे व्यक्ति हैं।
- मेंबर मैनेजमेंट बोर्ड ऑफ डॉ. बी.आर. अंबेडकर यूनिवर्सिटी, लखनऊ
- मेंबर, बोर्ड ऑफ गवर्नर, आईआईएम कोलकाता
- 2002 में सयुंक्त राष्ट्र की महासभा में भारत का नेतृत्व किया
कानपुर देहात में हुआ जन्म
कानपुर देहात की डेरापुर तहसील के गांव परौंख में जन्मे रामनाथ कोविंद ने सर्वोच्च न्यायालय में वकालत से करियर की शुरुआत की थी। वर्ष 1977 में जनता पार्टी की सरकार बनने के बाद तत्कालीन प्रधानमंत्री मोरार जी देसाई के निजी सचिव बने थे, इसके बाद भाजपा नेतृत्व के संपर्क में आए।
आईएएस परीक्षा में तीसरे प्रयास में मिली थी सफलता
परौख गांव में 1945 में जन्मे रामनाथ कोविंद की प्रारंभिक शिक्षा संदलपुर ब्लाक के ग्राम खानपुर परिषदीय प्राथमिक व पूर्व माध्यमिक विद्यालय में हुई। कानपुर नगर के बीएनएसडी से इंटरमीडिएट परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद डीएवी कॉलेज से बीकॉम और डीएवी लॉ कालेज से विधि स्नातक की पढ़ाई पूरी की। कोविंद ने दिल्ली में रहकर यूपीएससी की परीक्षा तीसरे प्रयास में पास की, लेकिन मुख्य सेवा के बजाय एलायड सेवा में चयन होने पर नौकरी ठुकरा दी। जून 1975 में आपातकाल के बाद जनता पार्टी की सरकार बनने पर वित्त मंत्री मोरारजी देसाई के निजी सचिव रहे थे। जनता पार्टी की सरकार में सुप्रीम कोर्ट के जूनियर काउंसलर के पद पर कार्य किया।
मकान को बारातघर के लिए दान दे दिया
बिहार के मौजूदा राज्यपाल रामनाथ कोविंद अपने तीन भाइयों में सबसे छोटे हैं। कहा जाता है कि परौख गांव में कोविंद अपना पैतृक मकान बारातघर के रूप में दान कर चुके हैं। उनके बड़े भाई प्यारेलाल और स्वर्गीय शिवबालक राम हैं।
ऐसे होगा राष्ट्रपति चुनाव
4896 मतदाता राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा लें सकेंगे। इनमें 4120 विधायक और 776 सांसद शामिल होंगे।आप के 20 विधायकों के खिलाफ लाभ के पद के मामले में केस चल रहा है, लेकिन चुनाव आयोग के अनुसार ये लोग वोट डाल सकेंगे। 12 नामांकित राज्यसभा सदस्य वोट नहीं डाल सकेंगे। लोकसभा में दो एंग्लो-इंडियन कम्युनिटी के नॉमिनेटेड मेंबर्स भी वोट नहीं कर सकेंगे। राज्यसभा में 10 सीटें खाली हैं राज्यसभा की, जिनके लिए चुनाव की घोषणा राष्ट्रपति चुनाव के बाद ही की जाएगी।
कितने वोट जरूरीः किसी भी दल को अपनी पसंद का राष्ट्रपति बनाने के लिए 50 प्रतिशत यानी 5,49, 442 वोटों की जरूरत है।
- कुल विधायक 4114
- कुल सांसद 776
- विधायकों की वोट वैल्यू 5,49.474
- सांसदों की वोट वैल्यू 5,48,408
- कुल वोट वैल्यू 10,98,882
(Agency)