लखनऊ : राज्य विधि आयोग ने जनसंख्या नियंत्रण कानून का मसौदा सोमवार को राज्य सरकार को सौंप दिया है। मसौदे की प्रति आयोग के अध्यक्ष आदित्य मित्तल ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को सौंपी। परिवार में एक बच्चे की नीति पर जोर दिया गया है। यूपी जनसंख्या नियंत्रण कानून जल्द लागू होने की संभावना है।
बता दें कि बीते दिनों मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था कि प्रदेश के विकास के लिए जनसंख्या वृद्धि दर को नियंत्रित करना जरूरी है। सभी लोगों को बेहतर सुविधाएं देन के लिए जनसंख्या घनत्व को कम करना होगा। उन्होंने कहा कि छोटा परिवार ही खुशहाली का आधार हो सकता है।
उन्होंने कहा था कि स्वस्थ समाज की स्थापना के लिए जनसंख्या का स्थिरीकरण अत्यन्त आवश्यक है। इससे समाज की बुनियादी आवश्यकताओं को पूरा किया जा सकता है।
इस नीति के तहत गर्भ निरोधक उपायों की सुलभता को बढ़ाने, सुरक्षित गर्भपात की समुचित व्यवस्था देने, नपुंसकता-बांझपन की समस्या का समाधान करने, बुजुर्गों की देखभाल के लिए व्यापक व्यवस्था की जाएगी।
यूपी के प्रस्तावित जनसंख्या नियंत्रण कानून की बड़ी बातें
दो से अधिक बच्चों के अभिभावकों को सरकारी नौकरी नहीं।
नहीं लड़ सकते स्थानीय निकाय और पंचायत का चुनाव।
दूसरी प्रेग्नेंसी में जुड़वा बच्चे होते हैं, तो वो कानून के दायरे में नहीं आएंगी।
तीसरे बच्चे को गोद लेने पर रोक नहीं।