जाने कैसे बारिश और बर्फबारी पर भारी पड़ रही आस्था
केदारघाटी की जनता इन दिनों तृतीय केदार के रूप में विख्यात भगवान तुंगनाथ की सेवा भक्ति में लगी है। भगवान तुंगनाथ कपाट बंद होने के बाद इन दिनों केदारघाटी के अनेकों गांवों का भ्रमण करके भक्तों को आशीष दे रहे हैं और भक्त भी बाबा तुंगनाथ का पुष्प और अक्षत्रों से भव्य स्वागत कर रहे हैं। कुल मिलाकर देखा जाय तो बर्फबारी, ठंड और बारिश पर आस्था भारी पड़ रही है।
दरअसल, भगवान तुंगनाथ के कपाट नवम्बर माह में बंद हो गये थे। जिसके बाद से भगवान तुंगनाथ की डोली केदारघाटी के अनेकों गांवों का भ्रमण करके अपने भक्तों को आशीष दे रही है। मान्यता के अनुसार कुछ वर्षों के अंतराल में भगवान तुंगनाथ केदारघाटी के गांवों का भ्रमण करते हैं। गांव भ्रमण करने का मुख्य उददेश्य है कि जो भक्त बाबा तुंगनाथ के धाम नहीं पहुंच पाते हैं, उन्हें बाबा घर पर जाकर ही आशीष देते हैं।
इन दिनों केदारघाटी में बर्फबारी और बारिश का दौर जारी है। केदारघाटी के साथ ही सम्पूर्ण रुद्रप्रयाग जनपद ठंड की चपेट में है। लेकिन बावजूद इसके भक्त बारिश और बर्फबारी के बीच भगवान तुंगनाथ का जगह-जगह भव्य स्वागत कर रहे हैं।
भगवान तुंगनाथ की दूसरे चरण की उत्तर दिवारा यात्रा को लेकर स्थानीय जनता में भारी उत्साह बना हुआ है। सैकड़ों श्रद्धालु ने भगवान तुंगनाथ की डोली के दर्शन कर पुण्य अर्जित किया। हर दिन आचार्य लम्बोदर प्रसाद मैठाणी, भूपेन्द्र मैठाणी, विनोद प्रसाद मैठाणी व हर्षवर्धन मैठाणी पंचांग पूजन के तहत भगवान तुंगनाथ की डोली व दिवारा यात्रा में साथ चल रहे देवकंडी, भूतेर, रूपछड़ी सहित अनेक देवी-देवताओं के निशाणों का स्नान कर महाभिषेक कर रहे हैं और हवन कर आरती उतारी जा रही है।