सेना में भर्ती कराने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह के 4 और आरोपी गिरफ्तार
राजस्थान एटीएस ने भारतीय सेना में नौकरी दिलाने के नाम पर बेरोजगार युवाओं को ठगने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया है। आरोपियों के पास से करोडों रूपये बरामद किए गये हैं। एटीएस ने इस सिलसिले में चार अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गये आरोपी पिछले 10 साल से एक अकादमी खोलकर सेना में भर्ती का युवकों को झांसा दे रहे थे। आश्चर्य की बात यह है कि आरोपियों के घर से आर्मी कैंटीन में मिलने वाली सीएसडी शराब की कई बोतलें भी मिली है। लिहाजा एटीएस को आशंका है कि इस फर्जीवाड़े में कहीं सेना का भी कोई शख्स शामिल तो नहीं है। एटीएस ने छापेमारी के दौरान इन लोगों के कब्जे से 1 करोड़ 79 लाख रूपये की नकदी भी बरामद की है।दरअसल, सेना के जोधपुर के मिलिट्री इंटेलीजेंस लाइजन यूनिट की सूचना के आधार पर राजस्थान एटीएस ने उदयपुर में छापेमारी कर नोखा निवासी अर्जुन सिंह नाम के आरोपी को पकड़ा। जिसकी सूचना के आधार पर जयपुर में इसके गिरोह में शामिल दुसरे किरदार नन्द सिंह राठौर को पकड़ा और नन्द सिंह राठौर से पूछताछ के बाद इनके तीसरा साथी महेंद्र ओला और सुनील व्यास को गिरफ्तार किया गया तो इनके पूरे रेकेट और उसके कारनामे सामने आ गये। जांच में इस बात का खुलासा हुआ है की ये लोग सेना में गारंटी से भर्ती कराने का युवकों को झांसा देते थे और इनकी पहुंच राजस्थान के हर उस जिले में थी जहां सेना की भर्तियां होती थी। आरोपियों ने खुलासा किया कि 40 से ज्यादा अभ्यर्थियों से यह राशि ली गई है। बताया जा रहा है कि इन लोगों ने जयपुर में एनसीसी नाम का एक कोचिंग सेंटर भी खोला रखा था जहां सेना में भर्ती का झांसा देकर ये आरोपी युवकों को फिटनेस ट्रेनिंग देकर प्रक्षिशित करते थे। प्रवेश शुल्क और तैयारियों के रूप में 80 हज़ार रूपये की फ़ीस और गारंटेड भर्ती के नाम पर हर एक अभ्यर्थी से ढाई से तीन लाख रुपये तक वसूलते थे। यदि किसी की नौकरी लग जाती तो ठीक वरना उस युवक को अगली 2-3 भर्तियों में होने की बात कहकर ऐसे अभ्यर्थियों को रोक लेते थे और इसके बाद भी भर्ती में चयन नहीं होने पर ये उन लोगों को रुपये लौटा देते थे ताकि वह पुलिस में उनके खिलाफ शिकायत दर्ज नहीं करा सके।