उत्तराखंड में कोरोना का पहला मामला आया सामने, ट्रेनी आईएफएस में हुई पुष्टि | Nation One
उत्तराखंड में कोरोनावायरस के पहले मरीज की पुष्टी हुई है। मरीज भारतीय वन सेवा का प्रशिक्षु अधिकारी बताया जा रहा है।
बताया जा रहा है कि इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वन अनुसंधान केंद्र के कुछ प्रशिक्षु आईएफएस कुछ दिनों पहले शैक्षिक भ्रमण पर फिनलैंड, रूस, स्पेन गए थे।
कोरोना संक्रमित प्रशिक्षु भी इस दल में शामिल था। विदेश दौरे से लौटने के बाद इन अधिकारियों के सैंपल जांच के लिए भेजे गए थे, इनकी रिपोर्ट रविवार को हल्द्वानी मेडिकल की लैब से प्राप्त हुई है।
जिनमें से एक अधिकारी का सैंपल कोरोनावायरस पॉजिटिव पाया गया है।
जानकारी के अनुसार संक्रमित प्रशिक्षु को आइसोलेशन रखा गया है। उत्तराखंड में कोरोना यानि कोविड 19 ने उत्तराखंड में भी दस्तक दे दी है।
विदेश से लौटे आईएफएस के एक अधिकारी में कोरोना वायरस के संक्रमण की पुष्टि हुई है। यह अधिकारी हाल ही में देहरादून से हल्द्वानी आए थे। तबीयत बिगड़ने पर यहां के मेडिकल कॉलेज में उनकी जांच हुई।
जांच में उनका सैंपल कोरोना वायरस से संक्रमित पाया गया है।
मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने भी पुष्टि की है| यह उत्तराखंड में कोरोना वायरस संक्रमण का पहला मामला है।
बताते चलें कि भारत में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 107 हो गई थी। भारत सरकार की तरफ से जारी आंकड़ों में सबसे ज्यादा मामले केरल से सामने आए हैं।
वहां 22 लोग कोविड19 पॉजिटिव पाए गए हैं। वहीं देश में दो और पूरी दुनिया में पांच हजार से अधिक लोगों की मौत इस बीमारी के संक्रमण से हो चुकी है।
उत्तराखंड में स्कूल, कॉलेज, सार्वजनिक संस्थान और सिनेमा हॉल को 31 मार्च तक बंद करने का आदेश जारी हो चुका है।
उत्तराखंड में कोरोना महामारी घोषित होने के बाद अब जिलाधिकारियों और मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को सभी अधिकार दे दे हैं।