उत्तराखंड: कोरोना काल में सियासी झंझावतों के बीच मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को एक साथ दो मोर्चों पर राहत मिली है। एक तरफ जहाँ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनको शाबाशी दी तो वहीं दूसरी तरफ रेखा आर्य षणमुगम विवाद में सीएम कारगर हस्तक्षेप कर पाए।
बता दें कि विधानसभा चुनाव के नजदीक आने के साथ ही विकास योजना को लेकर पीएम की यह शाबाशी त्रिवेंद्र सिंह रावत के लिए एक खास सियासी संकेत के तौर पर देखी जा रही है। कोविड-19 महामारी के दौर में मुख्यमंत्री का सियासी और प्रशासनिक कौशल कसौटी पर है। उनके फैसलों को लेकर केवल विपक्ष ही विरोध नहीं कर रहा। उनकी पार्टी के कुछ विधायक व नेता भी दबी जुबान में विरोध कर रहे हैं।
वहीं मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और उनकी टीम के प्रशासनिक कौशल की सराहना करके विरोधियों का मुँह बंद कर दिया। सीएम के लिए पीएम की तारीफ बूस्टर से कम नहीं है। पीएम ने कहा कि हर घर नल योजना में त्रिवेंद्र सरकार हमारी योजना से एक कदम आगे है।
दूसरी तरफ मुख्यमंत्री को राहत मिली जब राज्यमंत्री रेखा आर्य उनसे मिलने पहुंची। दरअसल, राज्यमंत्री और आईएएस विवाद के कारण भी सरकार को असहज होना पड़ा है। यह माना जा रहा है कि इस मुलाकात के बाद इस विवाद के भी सुलझ जाने के आसार हैं।