Health : गर्मी में बढ़ते हीटस्ट्रोक से कैसे बचें?

Health : जैसे-जैसे देश के कई हिस्सों में तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर जा रहा है, वैसे-वैसे हीटस्ट्रोक के मामलों में चिंताजनक बढ़ोतरी देखी जा रही है। अस्पतालों में रोजाना ऐसे मरीज पहुंच रहे हैं, जिन्हें सिर चकराना, कमजोरी, उल्टी और तेज बुखार जैसी दिक्कतें हो रही हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि अगर समय रहते सावधानी न बरती जाए, तो हीटस्ट्रोक जानलेवा भी साबित हो सकता है।

Health : क्या होता है हीटस्ट्रोक?

हीटस्ट्रोक तब होता है जब शरीर का तापमान तेजी से बढ़कर 104°F (40°C) या उससे ऊपर पहुंच जाता है और शरीर उसे कूल डाउन करने में असमर्थ हो जाता है। अत्यधिक गर्मी, सीधी धूप और लंबे समय तक शरीर का निर्जलित रहना इसके मुख्य कारण हैं। यह बच्चों, बुजुर्गों और हाई ब्लड प्रेशर या दिल की बीमारी से जूझ रहे लोगों में जल्दी असर करता है।

AIIMS और अन्य बड़े अस्पतालों के डॉक्टरों ने साफ कहा है कि अगर अगले कुछ हफ्तों में गर्मी इसी तरह बढ़ती रही, तो हीट से जुड़ी बीमारियों की संख्या दोगुनी हो सकती है। खासकर दिहाड़ी मजदूर, ट्रैफिक पुलिस, किसान और स्कूली बच्चे सबसे ज्यादा जोखिम में हैं, क्योंकि ये लंबे समय तक धूप में रहते हैं।

Health : कैसे करें हीटस्ट्रोक से बचाव?

1. दिन के सबसे गर्म समय में बाहर न निकलें:

दोपहर 12 से 3 बजे के बीच धूप सबसे ज्यादा तेज होती है। इस समय घर में ही रहें या बाहर निकलना जरूरी हो, तो पूरी तैयारी के साथ जाएं।

2. शरीर को हाइड्रेट रखें:

हर आधे घंटे में थोड़ा पानी पिएं। प्यास का इंतजार न करें। घर से निकलते वक्त पानी की बोतल साथ रखें। नींबू पानी, बेल शरबत, छाछ और नारियल पानी बहुत फायदेमंद होते हैं।

3. ढीले और हल्के रंग के कपड़े पहनें:

गहरे रंग और टाइट कपड़े शरीर की गर्मी को बढ़ाते हैं। हल्के कॉटन या लिनन के कपड़े पहनें जो पसीना सोख सकें।

4. धूप से खुद को ढकें:

सिर पर टोपी या कपड़ा जरूर बांधें, चेहरे और आंखों के लिए सनग्लास और स्कार्फ का इस्तेमाल करें।

5. बेमतलब बाहर जाने से बचें:

बच्चों और बुजुर्गों को घर के अंदर ही रखें। जरूरी काम भी सुबह या शाम के समय निपटाएं।

Health : हीटस्ट्रोक के लक्षणों को हल्के में न लें

– अचानक चक्कर आना या बेहोशी

– तेज बुखार और त्वचा का गर्म होना

– सांस लेने में तकलीफ

– मांसपेशियों में खिंचाव या ऐंठन

– उल्टी या मतली

– ज्यादा पसीना आना या कभी-कभी पसीना आना बंद हो जाना

ऐसे लक्षण दिखते ही तुरंत ठंडी जगह पर जाएं, शरीर को गीले कपड़े से पोंछें, पानी पिलाएं और ज़रूरत पड़े तो फौरन अस्पताल ले जाएं।

Health : सरकार और स्वास्थ्य विभाग की तैयारी

राज्य सरकारों ने गर्मी को देखते हुए एडवाइजरी जारी कर दी है। स्कूलों के टाइम बदले जा रहे हैं और दिहाड़ी मजदूरों को दोपहर की शिफ्ट से छुट देने की बात चल रही है। कुछ राज्यों में फ्री ORS और पानी के स्टॉल भी लगाए जा रहे हैं।

गर्मी की मार से बचना पूरी तरह हमारे हाथ में है। मौसम का मिज़ाज बदलना हमारे बस में नहीं, लेकिन समझदारी से खुद की और अपनों की हिफाज़त ज़रूर की जा सकती है। याद रखें, हीटस्ट्रोक मज़ाक नहीं है – सावधानी ही सुरक्षा है।

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